KORBA:उड़ा राख का गुबार और बस ने ऑटो को ठोंक दिया,5 यात्री चोटिल
कोरबा। कोल डस्ट के बाद अब राखड़ के साथ जीना कोरबा वासियों की नियति बन गई है। राखजनित समस्या कम होने की बजाय बढ़ती जा रही है और सड़क किनारे फेंकी जा रही/गिरकर बिखरी राख से उड़ता गुबार लोगों की जिंदगी खतरे में डाल रही है। आज इसी वजह से 5 जिंदगियां खतरे में आ गई।
कोरबा-चाम्पा मार्ग पर गौमाता चौक के आगे तेज रफ्तार बस ने सवारी ऑटो को टक्कर मार दी। ऑटो चालक सोनू महंत ने कि बताया सीतामढ़ी वैष्णो दरबार से अपने परिवार तथा पड़ोसी जिसमें उसकी पत्नी सुशीला महंत 26 वर्ष, पुत्री टिकेश्वरी महंत 4 माह तथा पड़ोसी गीता तिवारी पति भागवत 40 वर्ष एवं अनीता साहू 40 वर्ष को अपने सवारी ऑटो में बैठाकर ग्राम कुदुरमाल में स्थित बजरंगबली मंदिर दर्शन करने के लिए ले जा रहा था। जैसे ही ऑटो से गौ माता चौक ईमली डुग्गू के आगे पहुंचे थे कि इस समय सामने से बस क्रमांक CG 12 DR 4718 का चालक अपने बस को तेज गति लापरवाही पूर्वक चलाते हुए टक्कर मार दिया। गौ माता चौक के आगे जहां बड़ी मात्रा में राखड़ बिखरा हुआ है, वहां राख उड़ने से सामने कुछ दिखाई नहीं दिया और इसी दौरान सामने से आ रहे हैं बस के चालक ने ऑटो के पिछले हिस्से में टक्कर मार दिया। हादसे में ऑटो सवार सभी लोग घायल हो गए।
सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और स्थानीय लोगों के मदद से सभी घायलों को मेडिकल कॉलेज अस्पताल में पहुंचाया गया। यहां सभी घायलों का उपचार जारी है।
बता दें कि इस स्थान पर यह कोई पहली घटना नहीं है बल्कि इससे पहले भी उड़ते राख के कारण चन्द सेकेंड के लिए छाए अंधेरे में कई हादसे हो चुके हैं।
0 राख और गड्ढे
राख तो परेशानी की वजह है ही, सड़कों के किनारे कॉलर समतल नहीं होने के कारण भी आपात स्थिति में सड़क से उतरना जोखिमपूर्ण होता है। सड़क के किनारे गड्ढे होने से खासकर दुपहिया/तीन पहिया वाहन को एकाएक उतारने से पलटने का खतरा बना रहता है। एक तो सड़क खराब, ऊपर से बिखरी और उड़ती राख जीवन मे संकट उत्पन्न कर रही है किंतु संकटापन्न स्थिति निर्मित करने वाले जिम्मेदार लोगों पर कानूनी शिकंजा कसता नहीं दिख रहा।